क्या होता है खसखस? जानें, इसके फायदे और उपयोग
2023-03-06 10:26:34
खसखस तिलहन परिवार से संबंध रखता है। इसे बंगाली में पोस्तो, तेलुगु में गसागसालु के नाम से जाना जाता है। इसके बीजों को पॉपी नामक पौधे से प्राप्त किया जाता है। इसलिए इसे अंग्रेजी में पॉपी सिड्स कहा जाता है। इसका वानस्पतिक नाम पेपेवर सोम्निफेरम है। यह मुख्य रूप से मध्य यूरोपीय देशों में उगाया जाता है। आमतौर पर इसका उपयोग कई तरह के क्षेत्रीय व्यंजनों के निर्माण में किया जाता है। वहीं इसके बीजों से बने तेल का प्रयोग साबुन, इत्र और अन्य कॉस्मेटिक प्रोडक्ट बनाने में किया जाता है।
खसखस को कई खाद्य पदार्थों से अधिक फायदेमंद माना जाता हैं। इसलिए इसे स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छा माना जाता है। खसखस कई औषधीय गुणों से भरपूर होता है। इसमें मौजूद पोषक तत्व गंभीर बीमारियों से बचाने और सेहत को बरकरार रखने का काम करते हैं। यह बीज पाचन, कमजोर इम्यूनिटी, उच्च कोलेस्ट्रॉल, हृदय रोग, कैंसर, मधुमेह, अल्सर और सूजन जैसी बीमारियों के इलाज में लाभप्रद है। खसखस में ओमेगा-6, प्रोटीन, फाइबर, कैल्शियम, एंटीऑक्सीडेंट और फैटी एसिड अच्छी मात्रा में मौजूद होते हैं। इसलिए इसको वजन घटाने, स्वस्थ गर्भावस्था और प्रजनन क्षमता को बढ़ाने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।
खसखस के फायदे-
सेहत हेतु-
पाचन में सहायक-
खसखस का सेवन पाचन स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होता है। दरअसल खसखस फाइबर जैसे खास पोषक तत्व से समृद्ध होता है। यह गैस, कब्ज, एसिडिटी एवं अन्य पेट से जुड़ी समस्याओं से छुटकारा दिला ने का काम करता है। इसलिए इसका नियमित सेवन पाचन तंत्र के लिए अच्छा होता है।
मुंह के छालों के लिए-
खसखस के औषधीय गुण मुहं के छालों से निजात दिलाने का काम करते हैं। दरअसल, खसखस में मौजूद शीत (ठंडा) गुण पेट की गर्मी को और शांत प्रभाव प्रदान करते हैं। साथ ही दर्द से छुटकारा दिलाते हैं। इसके अलावा खसखस में एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो मुंह के बैक्टीरिया को नष्ट करने में सहायता करते हैं। इससे मुंह के अल्सर और अन्य मौखिक समस्याओं का प्रभावी ढंग से इलाज होता है।
प्रजनन क्षमता के लिए-
खसखस में मौजूद ओमेगा-3 पॉलीअनसेचुरेटेड फैटी एसिड पुरुषों में स्पर्म सेल्स (शुक्राणु कोशिकाओं) को बढ़ाने का काम करता है। जिससे पुरुषों की प्रजनन क्षमता में सुधार होता है। वहीं, नीदरलैंड और ऑस्ट्रेलिया में शोधकर्ताओं के मुताबिक, खसखस बीज से बने तेल से फैलोपियन ट्यूब को फ्लश करने से फर्टिलिटी में मदद मिलती है। दरअसल, फैलोपियन ट्यूब वह मार्ग होता है, जिससे अंडे अंडाशय से गर्भाशय तक जाते हैं। एक अन्य शोध के अनुसार, विटामिन-ई प्रजनन स्वास्थ्य में सुधार का काम करता है। इसलिए, प्रजनन काल से गुजर रही महिलाओं को अपने आहार में विटामिन-ई युक्त पदार्थों को शामिल करना जरुरी होता है। जिसमें खसखस के बीज को भी शामिल किया गया है।
हड्डियों के लिए उपयोगी-
खसखस के बीज हड्डियों को मजबूत बनाए रखने के लिए सहायक साबित होते हैं। क्योंकि इसमें कैल्शियम, जिंक और कॉपर जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं। यह सभी तत्व हड्डियों के विकास करने और उन्हें मजबूती प्रदान करने के लिए जाने जाते हैं। एक शोध में माना गया है कि कैल्शियम के साथ कॉपर और जिंक का सेवन रीढ़ की हड्डी के नुकसान को रोकने में प्रभावी भूमिका निभाते हैं।
मस्तिष्क स्वास्थ्य के लिए लाभप्रद-
अपने आहार में खसखस को सही मात्रा में शामिल करने से शरीर को भरपूर प्रोटीन, कैल्शियम, जिंक और कॉपर जैसे पोषक तत्व मिलता है। जिसके कारण अच्छे मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए भी खसखस उपयोगी है। यह सभी तत्व न्यूरोनल फंक्शन को संतुलित करने और याददाश्त को भी बढ़ाने का काम करते हैं। इसलिए मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए लोगों को अपने आहार में खसखस बीज को जरुर शामिल करना चाहिए।
रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में कारगर-
खसखस में आयरन और ज़िंक होता है। जो शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने का काम करता है। इसमें मौजूद आयरन शरीर में ऑक्सीजन ले जाने और प्रतिरक्षा प्रणाली को सुधारने का काम करता है। वहीं, जिंक नई कोशिकाओं की वृद्धि और विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
श्वसन प्रणाली के लिए लाभकारी-
खसखस में पाए जाने वाला जिंक श्वसन तंत्र के लिए अहम भूमिका निभाता है। यह साइटो प्रोटेक्टिव के रूप में कार्य करता है। जो श्वसन नलिका में सूजन और विषाक्त पदार्थों को दूर करता है। एक अध्ययन के अनुसार, जिंक फेफड़ों के स्वास्थ्य के लिए एक महत्वपूर्ण तत्व माना जाता है, जो अस्थमा के इलाज में प्रभावी होता है।
हृदय स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद-
खसखस का सेवन हृदय स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होता है। दरअसल खसखस डाइटरी फाइबर से भरपूर होता है, जो खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करने में मदद करता है। इस प्रकार, यह हृदय वाहिकाओं को साफ करता है और हृदय स्वास्थ्य में योगदान देता है। इसके अतिरिक्त खसखस में पाए जाने वाला ओमेगा -6 फैटी एसिड भी हृदय रोग से बचाव करता हैं।
ऊर्जा बढ़ाने में मददगार-
शरीर में ऊर्जा की प्रवाह को बढ़ाने के लिए पौष्टिक आहार लेना बेहद जरूरी होता हैं। जो शरीर को ऊर्जा और स्फूर्ति प्रदान करता है। इसलिए सेहतमंद आहार में खसखस बीज शामिल करना अच्छा विकल्प होता हैं। इसमें मिलने वाले कार्बोहाइड्रेट जैसे तत्व शरीर को एनर्जी प्रदान करते हैं। वहीं, खसखस में कैल्शियम, ज़िंक, आयरन और मैग्नीशियम जैसे पौष्टिक आहार पाए जाते हैं। जो शरीर में एनर्जी देने में सहायक होते हैं।
मधुमेह के लिए उपयोगी-
मधुमेह से पीड़ित लोगों को खसखस का सेवन बहुत उपयोगी होता है। दरअसल खसखस फाइबर से समृद्ध होता है, जो टाइप 2 डायबिटीज पर प्रभावी रूप से काम करता है। इसके अतिरिक्त खसखस मैग्नीशियम से भी भरपूर होता है। एक अध्ययन के मुताबिक, मैग्नीशियम की कमी से मधुमेह बढ़ने का खतरा बढ़ जाता है। ऐसे में मैग्नीशियम की खुराक लेने से मधुमेह होने की संभावना कम रहता है।
कैंसर की रोकथाम के लिए-
एक रिपोर्ट के मुताबिक, खसखस कार्सिनोजेन-डिटॉक्सिफाइंग एंजाइम को बढ़ाता है। जिसे ग्लूटाथिओन-एस-ट्रांसफरेज (जीएसटी) कहा जाता है। यह गुण कैंसर को रोकने में मदद करते हैं। इसके अलावा खसखस सामान्य स्वस्थ्य कोशिकाओं को बिना नुकसान पहुंचाए कैंसर कोशिकाओं को नष्ट करते हैं। इसलिए स्वस्थ्य कोशिकाओं के विकास एवं कैंसर कोशिकाओं को नष्ट के लिए खसखस सेवन करना अच्छा विकल्प माना जाता है।
त्वचा हेतु-
एक्जिमा और सूजन में लाभकारी-
दरअसल खसखस लिनोलिक एसिड से भरपूर होता है, जो एक्जिमा और सूजन से राहत दिलाता है। इसके लिए कुछ खसखस को 3-4 घंटे तक पानी में भिगोकर रखें। उसके बाद उसमें आधा चम्मच नींबू का रस मिलाकर पेस्ट बना लें। अब इस पेस्ट को प्रभावित जगह पर लगाएं। ऐसा करने से त्वचा की खुजली, सूजन और दर्द से छुटकारा मिलता है।
मॉइस्चराइज प्रदान करने के लिए-
खसखस के बीज से बना लेप प्राकृतिक मॉइस्चराइजर की तरह काम करता है। जिससे त्वचा मुलायम और जवां होती है। इसके लिए दो चम्मच खसखस के बीज को एक कप दूध के साथ अच्छी तरह ग्राइंड करके पेस्ट बना लें। अब इस पेस्ट को चेहरे लगाएं और कुछ देर बाद ठंडे पानी से चेहरा धो लें। ऐसा करने से त्वचा में नमी बरकरार रहती है। साथ ही त्वचा चमकदार बनती है।
चेहरे की सफाई के लिए-
त्वचा को साफ करने के लिए भी खसखस का प्रयोग अच्छा होता है। इसके लिए खसखस के बीजों का स्क्रब के रूप में इस्तेमाल करें। इसके लिए खसखस के बीजों को दही में अच्छी तरह से मिलकर मिश्रण तैयार कर लें। अब इस मिश्रण को अपने चेहरे और गर्दन पर धीरे-धीरे रगड़ें। ऐसा करीब 10 मिनट तक करें। उसके बाद ठंडे पानी से अपने चेहरे और गर्दन को धो लें।
बाल हेतु-
बालों के विकास के लिए-
बालों के विकास के लिए खसखस लाभकारी होता है। इसके लिए एक कप दूध में एक चम्मच प्याज का पेस्ट और कुछ खसखस के बीज को मिलाकर कुछ देर के लिए रख दें। अब इस मिश्रण का पेस्ट बना लें। उसके बाद इस पेस्ट को स्कैल्प और बालों पर लगाकर कुछ देर के लिए छोड़ दें। पुनः अपने बालों को शैम्पू से धो लें। इस प्रक्रिया को हफ्ते में 2-3 बार करें।
रुसी से आजादी-
रूसी से आजादी पाने के लिए भी खसखस का प्रयोग फायदेमंद होता है। क्योंकि यह विटामिन, मिनरल्स और प्रोटीन से भरपूर होता है, जो बालों को स्वस्थ बनाने का काम करते हैं। इसके लिए खसखस के बीजों को दही में अच्छी तरह से मिलकर मिश्रण तैयार कर लें। अब इस मिश्रण को स्कैल्प पर लगाएं और फिर शैम्पू कर लें। ऐसा हफ़्तों में 2-3 बार करने से रुसी से राहत मिलती है।
खसखस के नुकसान-
वैसे तो खसखस एक पौष्टिक खाद्य पदार्थ है। जिसका उपयोग शरीर की कई बीमारियों से छुटकारा दिलाने में मदद करता है। लेकिन इसका अधिक सेवन निम्नलिखित स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है:
- एलर्जी की समस्या।
- उल्टी या मतली।
- सुस्ती।
- कब्ज आदि।